भगवान को चढ़े फूल अगर मिलते हैं तो उन फूलों का क्या करना चाहिए?

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If God receives flowers offered to him, then what should be done with those flowers?

समाचार सच, अध्यात्म डेस्क। मंदिर जाने के बाद हम प्रसाद के साथ में फूल या माला चढ़ाते हैं। और यही फूल या माला हमें मंदिर से वापस मिलता है और कुछ दिनों के बाद जब वह सूख जाता है तो हमारे साथ में समस्या रहती है कि उस सूखे हुए फूल या माला को क्या करें और इसका क्या सही तरीके से उपयोग हो सकता है।

इसलिए जब भी फूल या माला सूख जाए तो उसको बहते हुए जल में प्रवाहित कर देना चाहिए या आप अपने गार्डन में एक ऐसी जगह भी बना सकते हैं जहां सूखे हुए फूल बाला और हमारे घर की सब्जियां भी कई बार खराब हो जाती है जिसका उपयोग हम नहीं कर पाते तो इंसानों के लिए एक आप अपने गार्डन में गड्ढा बनाकर उसमें यह सारी चीजें डाल के वर्मी कंपोस्ट के रूप में उसका इस्तेमाल कर सकते हैं और यह जो खाद बनेगा यह अपने क्यारी में और गमलों में उपयोग कर सकते हैं।

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मंदिर के फूल में होती है पॉजिटिव एनर्जी
प्रसाद के रूप में फूल को विसर्जित करने से पहले उसको सूंघ लेने पर उसकी जो पॉजिटिव एनर्जी होती है वह शरीर में प्रवेश कर जाती है क्योंकि मंदिर में और भगवान को चाहे स्कूल के अंदर एक अच्छी खासी पॉजिटिव एनर्जी होती है और उसको सुनते ही हमारे शरीर में पॉजिटिव एनर्जी का प्रवाह होता है और बहुत ही अच्छा महसूस होने लगता है जैसा कि आपने महसूस किया होगा कि जब भी हम मंदिर जाते हैं तो वहां पहुंचते ही वहां का जो वातावरण होता है वह इतना अच्छा लगने लगता है इतनी पॉजिटिव एनर्जी भरी होती कि हमारे अंदर अगर कोई भी दुख दर्द है तो हमें वहीं से मंदिर पहुंचते ही हमें लगता है कि कुछ राहत मिलने लगी है एक बहुत बड़ी शक्ति का संचार अपने शरीर के अंदर महसूस होने लगता है।

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मंदिर से मिले फूलों को कब तक अपने पास रखना चाहिए?
मंदिर से प्रसाद के रूप में मिले हुए फूलों को अपने घर में तब तक रखना चाहिए जब तक वह खिले हुए और ताजे दिख रहे हो क्योंकि जैसे युवा मुरझा जाते हैं और सूखने लगते हैं तो उसके अंदर नेगेटिव एनर्जी आने लगती है इसलिए जैसे ही लगे कि सुलभता जी नहीं रह जाएंगे उसको गमले में या कहीं डाल देना चाहिए जिससे कि उस स्कूल के दिनों से मैं और पौधे आते इसको आप अपने बगीचे में भी डाल सकते हैं और मौसम आता है तो उस समय वही फोन के बीजों से पौधे तैयार होते हैं और उन्हीं पौधों में फिर से फूल आते हैं जिसको आप भगवान को अर्पित कर सकते हैं।

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