
समाचार सच, हल्द्वानी। पुर्ननवा महिला समिति द्वारा चल रही पर्वतीय सांस्कृतिक उत्थान मंच हीरानगर हल्द्वानी में महिलाओं की रामलीला रोमांचकारी दौर में पहुंच गयी है। आज अष्टम दिन रामलीला में अंगद-रावण संवाद, लक्ष्मण शक्ति व जागृति का मंचन किया गया। मंचन के दौरान इस दौरान अंगद रावण संवाद के मंचन में कलाकारों द्वारा प्रस्तुत जीवंत अभिनय को दर्शकों ने खूब सराहा। (क्रमशः नीचे पढ़िए)



मंचन में दिखाया गया कि भगवान श्रीराम सेना के साथ समुद्र के तट पर पहुंच कर समुद्र से उस पार जाने के लिए मार्ग मांगते हैं। काफी अनुनय विनय के बाद भी जब समुद्र ने कोई जवाब नहीं दिया तो क्रोधित राम ने क्रोध में आकर समुद्र को अग्नि बाण से सुखाने की धमकी दी। इससे घबरा कर समुद्र ने प्रभु राम से क्षमा मांगते हुए समुद्र को पार करने का उपाय सुझाया। (क्रमशः नीचे पढ़िए)
इसके बाद भगवान राम के कहने पर अंगद रावण से मिलकर उसे बिना युद्ध के ही सीता माता को सम्मान सहित प्रभु राम के पास पहुंचाने की सलाह देते हैं। अंगद कहते हैं कि प्रभु काफी दयालु हैं और और गलतियों को क्षमा कर देंगे। यह सुन रावण अट्टाहास करते हुए कहता है कि रावण किसी की दया का मोहताज नहीं है। जिसके बाद युद्ध का मंचन होता है। राम और रावण की सेना युद्ध मैदान में आती है। लक्ष्मण और मेघनाद के बीच युद्ध होता है। मेघनाद के बाण से उन्हें शक्ति लगती है। हनुमान का उन्हें युद्ध मैदान से लाना, सुखेन वैद्य को हनुमानजी रामा दल में लेकर आए और सुखेन वैद्य के बताए अनुसार सूर्याेदय से पूर्व संजीवनी लाने की बात कही। हनुमानजी संजीवनी लेकर राम दल में पहुंचे। संजीवनी से लक्ष्घ्मण की मूर्छा खुलने से रामा दल में खुशी की लहर छा गई। (क्रमशः नीचे पढ़िए)

इस दौरान लीला का मुख्य आकर्षण अंगद-रावण संवाद रहा। रावण के किरदार में नीतू रौतेला और अंगद के किरदार में उर्वशी बोरा द्वारा तार्किक वाद विवाद का खूब लुफ्त दर्शकों ने उठाया। अन्य कलाकार हनुमान बने तनुजा जोशी, राम की भूमिका में मानसी, लक्ष्मण – लक्षिता, सीता-तेजस्वनी, विभीषण-बीना जोशी, सुग्रीव-प्रिया कश्मीरा, हनुमान-तनुजा जोशी, मंदोदरी-रीता पाण्डेय, जामवंत-प्रेमा जोशी, मेघनाथ-सुमन शाह, राक्षष सेना- रितू कांडपाल, सिद्धि सुयाल, सुषेन वैध-लीला मनराल आदि ने भी दर्शकों को मन मोहा। (क्रमशः नीचे पढ़िए)
आज के अतिथि पूर्व विधायक नारायणपाल, श्रीमती कामिनी पाल, विकास भगत, एसपी हरवंश सिंह, दीपक बलूटिया, श्रीमती गीता बलूटिया उपस्थित रहे। समिति के अध्यक्ष लता बोरा एवं सचिव शांति जीना ने बताया कि कल सोमवार को कुम्भकरण व मेघनाथ वध तक की लीला का मंचन किया जायेगा।
इस अवसर पर मुख्य रूप से समिति की उपाध्यक्ष यशोदा रावत, प्रचार सचिव सुश्री कल्पना रावत, जानकी पोखरिया, जया बिष्ट, तुलसी रावत, प्रेमा बृजवासी, मंजू बनकोटी, कुसुम बोरा, अंजना बोरा, निर्मला बहुगुणा आदि गणमान्य लोग मौजूद रहे।





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