सोमवती अमावस्या के दिन किन किन चीजों का दान करना शुभ होता है

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समाचार सच, अध्यात्म डेस्क। सनातन धर्म में अमावस्या तिथि स्नान दान और पूजा के लिहाज से काफी महत्वपूर्ण मानी जाती है। अमावस्या तिथि अगर सोमवार के दिन पड़ती है तो उसे सोमवती अमावस्या कहा जाता है। इस दिन भगवान शिव और माता पार्वती के साथ साथ सूर्यदेव की उपासना की जाती है। कहा जाता है कि इस दिन पवित्र नदियों में स्नान करने के साथ साथ दान पुण्य करने से मोक्ष की प्राप्ति होती है। मान्यता है कि सोमवती अमावस्या के दिन तर्पण, श्राद्ध और पिंडदान करने से नाराज पितर भी प्रसन्न हो जाते हैं। और, घर परिवार को सुख शांति का आशीर्वाद देते हैं। सोमवती अमावस्या के दिन किया गया दान काफी शुभ माना जाता है। इस दिन दान करने से सुख और सौभाग्य की प्राप्ति होती है। चलिए जानते हैं कि इस साल की अंतिम सोमवती अमावस्या किस दिन पड़ रही है और साथ ही जानेंगे कि सोमवती अमावस्या के दिन किन किन चीजों का दान करना शुभ होता है।

कब है साल की अंतिम सोमवती अमावस्या
इस साल की अंतिम सोमवती अमावस्या 30 दिसंबर, सोमवार के दिन पड़ रही है। अमावस्या तिथि 30 दिसंबर को सुबह 4 बजकर 01 मिनट से शुरू हो जाएगी और इसका समापन अगले दिन यानी 31 दिसंबर को सुबह 3 बजकर 56 मिनट पर होगा। ऐसे में उदया तिथि के आधार पर सोमवती अमावस्या 30 दिसंबर यानी सोमवार को मनाई जाएगी। सोमवती अमावस्या के दिन स्नान और तर्पण का शुभ समय ब्रह्म मुहूर्त में सुबह 5 बजकर 24 से आरंभ होगा और 6 बजकर 19 मिनट तक रहेगा। ये समय स्नान और पितरों के निमित्त तर्पण के लिए श्रेष्ठ कहा जा रहा है। कहा जाता है कि स्नान के बाद पितरों के तर्पण करने पर पितरों को मोक्ष की प्राप्ति होती है। पितरों का तर्पण करने के लिए जातक को सूर्यदेव के आगे तिल मिले जल का अर्घ्य देना होता है।

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सोमवती अमावस्या पर करें अन्न का दान
कहा जाता है कि सोमवती अमावस्या पर स्नान के बाद दान करने से अक्षय फल की प्राप्ति होती है। शास्त्रों में कहा गया है कि सोमवती अमावस्या के दिन अन्न का दान करना काफी शुभ होता है। इस दिन अन्न का दान करने से ना केवल पितर प्रसन्न होते हैं बल्कि वो खुश होकर आपके परिवार को आशीर्वाद भी देंगे। इस दिन अन्न के रूप में गेहूं, चावल, तिल और जौ का दान कर सकते हैं। इस दिन घर पर सात्विक भोजन बनाकर उसका कुछ हिस्सा पहले कुत्ते, गाय और कौए के लिए निकालना चाहिए। इसके बाद ब्राह्मण भोजन करना शुभ होता है। इससे पितृ दोष से भी मुक्ति मिलती है।

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ग्रह दान से दूर होगा ग्रह दोष
सोमवती अमावस्या पर कुंडली में चंद्रमा की शांति के लिए सफेद चीजों की दान करना शुभ माना जाता है। चूंकि सोमवती अमावस्या का संबंध चंद्रमा से है इसलिए इस दिन सफेद कपड़े, मोती, चावल, दही, खीर, मिश्री और चांदी का दान करना अच्छा होता है। इससे कुंडली में चंद्रमा की कमजोर स्थिति मजबूत हो जाती है।

वस्त्र दान से मिलेगी देवों की कृपा
सोमवती अमावस्या पर वस्त्र दान करने से देवताओं की कृपा प्राप्त होती है। इस दिन स्नान और तर्पण करने के बाद हरे, पीले और लाल वस्त्रों का दान करना शुभ होता है। इस दिन पितरों की कृपा पाने के लिए सफेद रंग के बिना सिले वस्त्र दान किए जाते हैं।

गौ दान से दूर होगा अकाल मृत्यु का दोष
इस दिन गौ दान करने से परिवार में किसी के निधन या अकाल मृत्यु का दोष कम होता है। इस दिन गाय का दान करने से मृत व्यक्ति की आत्मा को वैतरणी नदी पार करने में मदद मिलती है।

गरुण पुराण का दान दिलाएगा ऋण से मुक्ति
इस दिन गरुण पुराण, गीता जैसी धार्मिक पुस्तकों का दान करने से जातक को कर्ज से मुक्ति मिलती है।

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