समाचार सच, अध्यात्म डेस्क। हिंदू मान्यताओं में अपरा एकादशी का विशेष महत्व माना जाता है। इस साल ज्येष्ठ महीने के कृष्ण पक्ष की एकादशी को अपरा एकादशी के रूप में मनाया जाएगा। अपरा एकादशी के दिन पूरे श्रद्धा भाव से विष्णु भगवान का चिंतन मनन करने से जीवन में सुख-समृद्धि बनी रहती है। इसलिए आइये जानते हैं अपरा एकादशी की पूजा का शुभ मुहूर्त, विधि और व्रत पारण का सही समय-


अपरा एकादशी पर 3 शुभ योग- पंचांग के अनुसार, अपरा एकादशी के दिन प्रीति योग शाम 06.37 बजे रहेगा, जिसके बाद आयुष्मान् योग का निर्माण होगा। इस दिन सर्वार्थ सिद्धि योग व अमृत सिद्धि योग शाम 04.02 से 24 मई को 05.26 सुबह तक रहेगा।
जानें पूजा मुहूर्त व व्रत पारण का समय
23 मई 2025 को 01.12 सुबह से एकादशी तिथि की शुरुआत होगी, जो 23 मई के दिन रात 10.29 बजे तक रहेगी। उदया तिथि के अनुसार, 23 मई के दिन अपरा एकादशी मनाई जाएगी। 24 मई को व्रत का पारण किया जाएगा। पारण का मुहूर्त सुबह 05.26 से 08.11 प्रातः तक रहेगा। पारण तिथि के दिन द्वादशी समाप्त होने का समय शाम 07.20 बजे रहेगा।
पूजा-विधि
- स्नान आदि कर मंदिर की साफ सफाई करें
- भगवान श्री हरि विष्णु का जलाभिषेक करें
- प्रभु का पंचामृत सहित गंगाजल से अभिषेक करें
- अब प्रभु को पीला चंदन और पीले पुष्प अर्पित करें
- मंदिर में घी का दीपक प्रज्वलित करें
- अपरा एकादशी की व्रत कथा का पाठ करें
- ऊँ नमो भगवते वासुदेवाय मंत्र का जाप करें
- पूरी श्रद्धा के साथ भगवान श्री हरि विष्णु और लक्ष्मी जी की आरती करें
- प्रभु को तुलसी सहित भोग लगाएं
- अंत में क्षमा प्रार्थना करें





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